Nation Issue
देश

रामेश्वर कैफे हमला महज दो लोगों की हरकत नहीं है, इसके पीछे एक बड़ा नेटवर्क है, जो विदेश तक फैला : एनआईए

बेंगलुरु
आईटी सिटी बेंगलुरु के रामेश्वर कैफे में 1 मार्च को हुए बम धमाके की NIA ने गहराई से जांच की है और कई सनसनीखेज खुलासे किए हैं। इस मामले के दो मुख्य आरोपियों मुसब्बिर हुसैन शाजेब और अब्दुल मतीन ताहा को NIA ने बंगाल से अरेस्ट कर लिया है। इन दोनों ने ही कैफे में बम रखा था और धमाका किया था। इन दोनों की गिरफ्तारी के लिए लंबा अभियान चला था। इसके लिए NIA के साथ बंगाल, तेलंगाना, कर्नाटक और केरल की पुलिस भी जुटी थीं। सूत्रों ने बताया कि अब तक मिले सबूतों के अनुसार मुसब्बिर हुसैन ने ही बैग में बम रखा था और उसे कैफे में छोड़ आया था।

इसके अलावा अब्दुल मतीन ताहा ने पूरी घटना की साजिश रची थी और फिर मुसब्बिर को भागने में मदद की। एनआईए का कहना है कि यह हमला महज दो लोगों की हरकत का नतीजा भर नहीं है बल्कि इसके पीछे एक बड़ा नेटवर्क है, जो विदेश तक फैला है। इस मामले में यह दूसरी और तीसरी गिरफ्तारी है। इससे पहले मार्च में मुजम्मिल शरीफ नाम के आतंकी को गिरफ्तार किया गया था। मुसब्बिर हुसैन और अब्दुल मतीन कर्नाटक के ही शिवमोगा के रहने वाले हैं। घटना को अंजाम देने के बाद ये लोग कई राज्यों से होते हुए बंगाल पहुंचे थे। लेकिन एजेंसी ने इनका पीछा नहीं छोड़ा और कुल 18 जगहों पर छापेमारी करते हुए बंगाल से आखिर में अरेस्ट कर लिया।

रामेश्वरम कैफे में हुए ब्लास्ट में 10 लोग जख्मी हो गए थे। अच्छी बात यह रही कि इस धमाके में किसी की मौत नहीं हुई। इसकी एक वजह यह थी कि बम जहां रखा गया था, वहां एक बड़ा पिलर था और कम लोगों की मौजूदगी थी। धमाका हुआ तो उसका सबसे ज्यादा असर पिलर पर दिखा और अन्य लोग बच गए। NIA ने इस मामले के हर आरोपी की जानकारी देने पर 10 लाख रुपये का इनाम घोषित किया था। बेंगलुरु जैसे शहर के नामी कैफे में धमाके ने एजेंसियों की चिंताएं बढ़ा दी थीं।

मुसब्बिर और मतीन को विदेश से हैंडलर दे रहा था निर्देश
मुसब्बिर हुसैन और अब्दुल मतीन को विदेशी हैंडलर्स से निर्देश मिल रहे थे। इस मामले में NIA का कहना है कि ये दोनों एक बड़े आतंकी मॉड्यूल का हिस्सा हैं। NIA का कहना है कि इनकी गिरफ्तारी से एक बड़े टेरर मॉड्यूल का खुलासा होगा। स्लीपर सेल के तौर पर ये लोग लंबे समय से ऐक्टिव थे। अब्दुल मतीन को लेकर कहा जा रहा है कि यह उस आतंकी संगठन से भी जुड़ा हुआ था, जिसने 2019 में तमिलनाडु में एक हिंदूवादी नेता की हत्या की थी। इन दोनों के अलावा कुछ और आतंकियों पर भी एजेंसी की नजर है। इन्हें भी NIA जल्दी ही अरेस्ट कर सकती है।

 

Related posts

विंध्य भूमि में इंडी गठबंधन पर तीखा हमला करते हुए कहा- SC, ST और पिछड़ों का आरक्षण छीनने वालों के सामने मोदी खड़ा है

admin

उच्चतम न्यायालय कॉलेजियम ने उच्च न्यायालय के तीन न्यायाधीशों के तबादले की सिफारिश की

admin

बारिश के बीच सितंबर 2023 के बाद पहली बार भारत के मुख्य जलाशयों में जल स्तर बढ़ा

admin

Leave a Comment